शिमला। प्रदेश में भारी बारिश से कई जगह भू-स्खलन (landslide) हुआ है। इससे पिता-पुत्री समेत चार लोगों की मौत गई है। शिमला और सिरमौर में दर्दनाक हादसे (Accidents) हुए है। शिमला के जुन्गा और कोटखाई क्षेत्रों में भू-स्खलन की दो अलग-अलग घटनाओं में तीन लोगों की मौत (Death) हो गई है।

तहसील जुन्गा के पटवार हलका डबलू के उप मोहल जोड़ में रविवार देर रात यहां रहने वाले वीरेंद्र कुमार (35) पुत्र स्व. जय सिंह का मकान भू-स्खलन की चपेट में आ गया। देखते ही देखते पूरा मकान मलबे में तब्दील हो गया। इस हादसे में वीरेंद्र कुमार और उनकी 10 वर्षीय बेटी की मौके पर ही मौत हो गई। वहीं घर में बंधे मवेशी भी दब गए। हादसे के समय वीरेंद्र कुमार की पत्नी घर के बाहर थी, जिससे उनकी जान बच गई।

सोमवार सुबह शिमला जिले के कोटखाई उपमंडल के गांव चोल, डाकघर आदर्श नगर में भी भारी बारिश के कारण मकान के पीछे भू-स्खलन हुआ। भू-स्खलन से मकान अचानक ढह गया और उसमें रहने वाली बुजुर्ग कलावती पत्नी बलम सिंह मलबे में दब गईं। स्थानीय लोगों ने कड़ी मशक्कत के बाद उन्हें बाहर निकाला, लेकिन तब तक उनकी मौत हो चुकी थी। सिरमौर जिले के शाइमी में एक घर भू-स्खलन की चपेट में गया। इससे महिला मलबे में दब गई, जिससे उसकी मौत हो गई। महिला का पति हादसे के समय बाहर निकला था, जिससे उसकी जान बच गई।

प्रदेश में लगातार हो रही मूसलधार बारिश ने पूरे राज्य में तबाही मचाई है। इससे लोगों की जा जाने भी जा रही हैं। राज्य में जहां जनजीवन प्रभावित हुआ है, वहीं करोड़ों रुपये का नुक्सान भी हुआ है। शिमला जिले में पिछले 20 घंटों से जारी बारिश से यातायात करीब-करीब ठप हो गया है। कई संपर्क मार्ग बंद हैं और बिजली-पानी की आपूर्ति भी बाधित हो रही है। यही हाल अन्य जिलों का भी है। चंबा, कुल्लू व मंडी जिलों में ज्यादा सड़कें अवरुद्ध हैं।

चंबा में सड़कें बंद होने के चलते कई मणिमहेश यात्री फंसे हुए हैं। सुरक्षा कारणों से शिमला सहित 10 जिलों में सोमवार को सभी शिक्षण संस्थान बंद रखने के आदेश जारी किए गए हैं। मौसम विज्ञान केंद्र शिमला ने सोमवार को प्रदेश के कई जिलों के लिए बहुत भारी वर्षा का रेड अलर्ट जारी किया है। अगले 24 घंटों में भारी से बहुत भारी बारिश की आशंका है।

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